SDG लक्ष्य 3: सभी के लिए अच्छा स्वास्थ्य और कल्याण सुनिश्चित करना

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भूमिका

संयुक्त राष्ट्र के सतत विकास लक्ष्यों (Sustainable Development Goals) में तीसरा लक्ष्य है — “सभी उम्र के लोगों के लिए अच्छे स्वास्थ्य और कल्याण को सुनिश्चित करना।” इसका उद्देश्य यह है कि 2030 तक सभी को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं मिलें, मातृ मृत्यु दर और बच्चों की मृत्यु दर घटे और सभी बीमारियों की रोकथाम और उपचार संभव हो।

SDG 3 के प्रमुख उद्देश्य

उद्देश्यविवरण
3.12030 तक वैश्विक मातृ मृत्यु दर को 70 प्रति 1 लाख जीवित जन्मों से कम करना
3.25 वर्ष से कम उम्र के बच्चों की रोकी जा सकने वाली मृत्यु को समाप्त करना
3.3HIV, टीबी, मलेरिया, हेपेटाइटिस और अन्य संक्रामक बीमारियों का उन्मूलन
3.4गैर-संक्रामक रोगों से समय से पहले मृत्यु में एक-तिहाई की कमी
3.8सभी के लिए सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज

भारत में SDG 3 की प्रगति (2024 तक के आँकड़े)

सूचकांकआँकड़े (भारत, 2024)लक्ष्य (2030)
मातृ मृत्यु दर (MMR)97 प्रति 1 लाख< 70
शिशु मृत्यु दर (IMR)28 प्रति 1,000 जीवित जन्म< 12
5 वर्ष से कम मृत्यु दर32 प्रति 1,000 जीवित जन्म< 25
पूर्ण टीकाकरण (0-5 वर्ष)76%100%
सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज (UHC Index)54> 70

(स्रोत: नीति आयोग, NFHS-5, स्वास्थ्य मंत्रालय रिपोर्ट 2024)

भारत सरकार की प्रमुख योजनाएँ

योजना का नामउद्देश्य
आयुष्मान भारत योजना₹5 लाख तक की निःशुल्क इलाज सुविधा
मिशन इंद्रधनुषबच्चों के लिए 12 बीमारियों के खिलाफ टीकाकरण
प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजनागरीबों को मुफ्त इलाज
POSHAN अभियानकुपोषण की रोकथाम
राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रममानसिक रोगों की रोकथाम और उपचार

प्रमुख चुनौतियाँ

  • ग्रामीण क्षेत्रों में डॉक्टरों और अस्पतालों की कमी
  • स्वास्थ्य सेवाओं का असमान वितरण
  • कुपोषण और एनीमिया जैसे पोषण संबंधित रोग
  • मानसिक स्वास्थ्य पर जागरूकता की भारी कमी
  • निजी स्वास्थ्य सेवाओं की महंगाई

सुझाव और समाधान

  • डिजिटल हेल्थ कार्ड के माध्यम से हेल्थ डेटा को जोड़ना
  • जनसंख्या नियंत्रण हेतु मजबूत नीति
  • महिलाओं और बच्चों की स्वास्थ्य शिक्षा पर फोकस
  • टेलीमेडिसिन को सुदृढ़ करना
  • स्थानीय भाषा में स्वास्थ्य सामग्री उपलब्ध कराना

निष्कर्ष

SDG Goal 3 न केवल बीमारी के इलाज बल्कि संपूर्ण स्वास्थ्य, पोषण, मानसिक संतुलन और जीवन की गुणवत्ता से जुड़ा है। भारत ने कई क्षेत्रों में प्रगति की है, लेकिन अभी भी 2030 तक के लक्ष्य को पाने के लिए तेजी से कार्य करने की आवश्यकता है।

क्या आप जानते हैं?

👉 भारत में हर साल करीब 6.3 करोड़ लोग स्वास्थ्य पर होने वाले खर्च के कारण गरीबी रेखा से नीचे चले जाते हैं।
👉 भारत में 1 डॉक्टर पर औसतन 1,500 मरीज हैं, जबकि WHO के अनुसार यह अनुपात 1:1,000 होना चाहिए।


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